युवाओं को रोजगार से जोड़ने के लिए उत्तराखंड सरकार का बड़ा कदम, मुख्यमंत्री धामी ने दिए ठोस रणनीति के निर्देश
Uttarakhand government took a big step to connect youth with employment, CM Dhami gave instructions for a concrete strategy

देहरादून: उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने राज्य के युवाओं को कौशल विकास के माध्यम से स्वरोजगार और रोजगार से जोड़ने की दिशा में ठोस रणनीति तैयार करने के निर्देश दिए हैं। सचिवालय में कौशल विकास एवं श्रम विभाग की समीक्षा बैठक के दौरान मुख्यमंत्री ने कहा कि सभी संबंधित विभागीय सचिव आपसी समन्वय से कार्य करें और राज्य के युवाओं को आधुनिक कौशल के साथ रोजगार के अवसर दिलाने में तेजी लाएं।
इन्क्यूबेशन और ग्रोथ सेंटरों से जोड़ा जाएगा प्रशिक्षण
मुख्यमंत्री धामी ने कौशल विकास को इन्क्यूबेशन और ग्रोथ सेंटरों से जोड़ने के निर्देश देते हुए कहा कि प्रत्येक जनपद में स्थानीय युवाओं को प्लंबर, इलेक्ट्रिशियन, कारपेंटर और मिस्त्री जैसे रोजगारपरक कार्यों में प्रशिक्षित किया जाए। उन्होंने प्रशिक्षण पाठ्यक्रमों को उद्योगों की मांग और भविष्य की आवश्यकताओं के अनुरूप बनाने की बात कही। इसके लिए अत्याधुनिक मशीनें, प्रयोगशालाएं और स्मार्ट क्लासरूम की स्थापना आवश्यक बताई गई।
पारंपरिक हुनर और ई-श्रम को मिलेगा बढ़ावा
मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को हर जनपद की पारंपरिक विशेषताओं के अनुसार कौशल प्रशिक्षण देने के निर्देश दिए। साथ ही ई-श्रम पोर्टल पर पंजीकरण को प्रोत्साहित करने और पंजीकृत श्रमिकों को सामाजिक सुरक्षा के दायरे में लाने पर भी जोर दिया। उन्होंने बाल श्रम मुक्ति के लिए राज्य के बड़े जनपदों में विशेष अभियान चलाने और लक्षित पुनर्वास की कार्ययोजना शीघ्र तैयार करने को कहा।
महिलाओं के लिए विशेष केंद्र और स्किल ऑन व्हील्स योजना
मुख्यमंत्री ने स्वरोजगार में महिलाओं की भागीदारी बढ़ाने के लिए विशेष कौशल विकास केंद्रों की स्थापना पर बल दिया। इसके अलावा दूरदराज क्षेत्रों में “स्किल ऑन व्हील्स” योजना के अंतर्गत मोबाइल प्रशिक्षण वैन शुरू करने के निर्देश भी दिए। हेल्थकेयर और हॉस्पिटैलिटी सेक्टर में विदेशों में रोजगार की संभावनाओं को देखते हुए उन्होंने दून विश्वविद्यालय के माध्यम से विदेशी भाषाओं के प्रशिक्षण की पहल की बात कही।
कौशल विकास विभाग को 10 दिन में पेश करनी होगी कार्ययोजना
मुख्यमंत्री ने कौशल विकास विभाग से कहा कि वे हर साल प्रशिक्षित युवाओं की संख्या और रोजगार के आंकड़ों सहित एक दीर्घकालिक योजना 10 दिनों के भीतर प्रस्तुत करें। बैठक में यह भी जानकारी दी गई कि प्रदेश के 27 आईटीआई संस्थानों में दो वर्षीय कोर्स के तहत एक वर्ष का प्रशिक्षण संस्थान में और एक वर्ष उद्योगों में दिए जाने की योजना को भारत सरकार की मंजूरी मिल चुकी है।