उत्तराखंड

UKSSSC परीक्षा विवाद: CM धामी ने कहा – यह पेपर लीक नहीं, नकल प्रकरण है

UKSSSC exam controversy: CM Dhami said – this is not a paper leak, it is a cheating case

देहरादून: उत्तराखंड में हाल ही में आयोजित यूकेएसएसएससी स्नातक स्तरीय परीक्षा के दौरान पेपर के कुछ पन्ने बाहर आने के मामले ने राज्य में हंगामा मचा दिया। इस मामले पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने स्पष्ट किया कि इसे पेपर लीक नहीं कहा जा सकता, बल्कि यह नकल का एक गंभीर प्रकरण है। उन्होंने कहा कि पेपर लीक तब माना जाता है जब पूरा प्रश्न पत्र किसी बाहरी स्रोत तक परीक्षा के समय या तुरंत बाद पहुँच जाए।

मुख्यमंत्री ने आगे कहा, “यदि कुछ प्रश्न पत्र किसी को मिल गए थे, तो प्रशासन और पुलिस को तुरंत सूचित करना चाहिए था। लेकिन इस मामले में कई घंटे तक इसे छुपाया गया और सोशल मीडिया पर फैलाया गया। यह पूरी तरह से सिस्टम को बदनाम करने की कोशिश थी।” उन्होंने यह भी जोर दिया कि उत्तराखंड में कानून के तहत अपराधियों को सजा दी जाएगी और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति नहीं होगी।

किस तरह बाहर आए पेपर के तीन पन्ने

21 सितंबर को राज्यभर में यूकेएसएसएससी परीक्षा आयोजित की गई। आरोप है कि हरिद्वार के आदर्श बाल सदन इंटर कॉलेज बहादुरपुर जट परीक्षा केंद्र से पेपर के तीन पन्ने बाहर आए। परीक्षा केंद्र के 18 कमरों में से तीन—नंबर 9, 17 और 18—में जैमर नहीं लगे थे। परीक्षा शुरू होने के आधे घंटे बाद अभ्यर्थी खालिद ने इन्क्विज़िलेटर की अनुमति लेकर पेपर अपने पास रखा और वॉशरूम में जाकर उसका फोटो खींचा। इसके बाद उसने ये पन्ने अपनी बहन साबिया को भेजे।

साबिया ने फोटो प्रोफेसर सुमन को भेजा और उत्तर प्राप्त किए। हालांकि, इस पूरे प्रकरण की जानकारी पुलिस को न देकर उन्होंने इसे उत्तराखंड स्वाभिमान मोर्चा के अध्यक्ष बॉबी पंवार को दी, जिन्होंने इसे सोशल मीडिया पर वायरल कर दिया।

पुलिस और प्रशासन की कार्रवाई

मुख्य आरोपी खालिद और उसकी बहन साबिया को गिरफ्तार कर लिया गया है। खालिद का मोबाइल अभी भी बरामद नहीं हुआ है, जिससे कई तथ्य अभी भी अस्पष्ट हैं। इस घटना के बाद उच्च शिक्षा विभाग ने प्रश्न पत्र हल करने वाली असिस्टेंट प्रोफेसर सुमन को निलंबित कर दिया। साथ ही, जिला ग्रामीण विकास अभिकरण के परियोजना निदेशक के. एन. तिवारी और दो पुलिसकर्मियों को सस्पेंड किया गया।

मुख्यमंत्री का दृष्टिकोण

धामी ने कहा कि यह मामला पूरे सिस्टम को बदनाम करने के एजेंडे के साथ फैलाया गया। उन्होंने अभ्यर्थियों और अधिकारियों को स्पष्ट संदेश दिया कि जिम्मेदारों पर सख्त कार्रवाई की जाएगी और भविष्य में परीक्षा प्रक्रिया को और सुरक्षित बनाया जाएगा। उन्होंने छात्रों से अपील की कि वे अनुशासन बनाए रखें और किसी भी अनियमितता की सूचना प्रशासन को दें।

यूकेएसएसएससी परीक्षा विवाद ने राज्य में शिक्षा प्रशासन और परीक्षा प्रक्रिया की संवेदनशीलता को उजागर किया। हालांकि, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने भरोसा दिलाया कि पूरे प्रकरण में जिम्मेदारों पर कार्रवाई की जा रही है और भविष्य में ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति रोकी जाएगी।

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