
दिलाराम स्टेट पर ताला लगाने की घटना से स्थानीय निवासी और वहां दशकों से रह रहे परिवारों में नाराजगी फैल गई है। निवासियों का कहना है कि अचानक मुख्य गेट पर ताला लगने से उन्हें दैनिक जरूरतों को पूरा करने में भारी मुश्किलों का सामना करना पड़ा। ताला लगाने वालों ने निवासियों के साथ कोई पूर्व सूचना या सहमति नहीं ली थी, जिससे लोग रातभर घरों के अंदर फंसे रहे और बाहर निकलने में असमर्थ हो गए।
निवासियों का आरोप है कि बाहरी राज्य से आए कुछ लोगों ने दिलाराम स्टेट की संपत्ति को खरीदने का दावा किया है, लेकिन वे इस खरीदारी से जुड़े कोई वैध दस्तावेज प्रस्तुत नहीं कर सके हैं। इसके बावजूद, इन बाहरी तत्वों द्वारा लगातार निवासियों पर दबाव बनाया जा रहा है। लोगों ने यह भी बताया कि उन्होंने दिलाराम स्टेट की संपत्ति से जबरदस्ती खाली कराए जाने के प्रयासों के खिलाफ कोर्ट से स्टे ऑर्डर प्राप्त कर रखा है, जो उनके निवास अधिकार की रक्षा करता है। बावजूद इसके, उन्हें कथित रूप से परेशान किया जा रहा है।
घटना की जानकारी मिलते ही स्थानीय प्रशासन और पुलिस मौके पर पहुंची, जहां अधिकारियों ने दोनों पक्षों को शांत कराया। निवासियों ने प्रशासन पर भी आरोप लगाया कि उनकी शिकायतों के बावजूद कोई ठोस कदम नहीं उठाया गया है।
स्थिति को देखते हुए निवासियों ने मांग की है कि प्रशासन दिलाराम स्टेट की संपत्ति पर उनकी स्वीकृति के बिना हस्तक्षेप की अनुमति न दे और कोर्ट के आदेशों का सम्मान करे।