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उत्तराखंड में 12 जून के बाद मानसून की दस्तक, 8% अधिक बारिश का अनुमान

Monsoon will arrive in Uttarakhand after June 12, 8% more rain expected

उत्तराखंड में 12 जून के बाद मानसून की संभावना है। इस बार सामान्य से लगभग 8 प्रतिशत अधिक बारिश होने का अनुमान जताया गया है। भारी बारिश के दौरान राहत-बचाव कार्य को बेहतर बनाने और यात्रियों को सही मौसम की जानकारी देने पर विशेष जोर दिया जा रहा है।

मौसम पूर्वानुमान में सुधार की जरूरत

प्रदेश की भौगोलिक परिस्थितियों के कारण पर्वतीय क्षेत्रों में मानसून के दौरान अक्सर आपदा जैसी स्थितियां बन जाती हैं। सड़क मार्ग बाधित हो जाते हैं और जलभराव होता है, जिससे पर्यटकों और स्थानीय लोगों को काफी परेशानी होती है। मौसम विभाग के पूर्वानुमान अक्सर सटीक नहीं होते, जिससे भ्रम की स्थिति बनती है।

आपदा प्रबंधन विभाग की सक्रियता

उत्तराखंड सरकार ने आपदा प्रबंधन विभाग को सक्रिय करते हुए तीन स्तरों पर मौसम पूर्वानुमान जारी करने की व्यवस्था की है। बारिश की संभावना होने पर तीन घंटे पहले एसएमएस के जरिए अलर्ट भेजा जाता है। इसके अलावा दैनिक और साप्ताहिक बुलेटिन भी जारी किए जाते हैं।

तकनीकी संसाधनों का विस्तार

प्रदेश में सुरकंडा देवी, मुक्तेश्वर और लैंसडाउन में डॉप्लर रडार लगे हैं, जिनकी रेंज लगभग 100 किलोमीटर है। 400 से अधिक ऑटोमेटिक वेदर सेंसर लगे हैं और 500 और सेंसर लगाने की योजना है, ताकि अधिक सटीक डेटा प्राप्त हो सके।

मौसम विज्ञान केंद्र का बयान

डॉ. रोहित थपलियाल ने बताया कि तीन घंटे पहले जारी नाउकास्ट क्षेत्रीय स्तर पर होता है और बारिश की संभावना क्षेत्र के 25 से 75 प्रतिशत हिस्से में होती है। सरकार के अलर्ट संदेश कभी-कभी देरी से पहुंचते हैं, इसलिए सचेत ऐप का उपयोग बढ़ाया जा रहा है।

मौसम पूर्वानुमान के छह प्रकार

प्रदेश में पूरे मानसून सीजन, महीने, पांच दिन, एक सप्ताह, दैनिक और तीन घंटे पहले नाउकास्ट जैसे छह प्रकार के पूर्वानुमान जारी किए जाते हैं। यह प्रणाली मानसून के दौरान बेहतर सुरक्षा और राहत कार्यों को सुनिश्चित करने में सहायक होगी।

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