उत्तराखंड

बदरीपुरी में श्रद्धालुओं और देव डोलियों से भक्ति का उत्सव, तीर्थ यात्रियों की संख्या 15 लाख के पार

Badripuri celebrates devotion with devotees and Dev Dolis, with the number of pilgrims crossing 1.5 million.

चमोली: बदरीनाथ धाम इन दिनों तीर्थ यात्रियों और श्रद्धालुओं की चहल-पहल से गुलजार है। विभिन्न जिलों से आने वाली देव डोलियां और पवित्र निशान श्री हरि नारायण प्रभु बदरी विशाल के दर्शन के लिए पहुंच रहे हैं। बदरीपुरी में धार्मिक, सांस्कृतिक और आध्यात्मिक पर्यटन अपने चरम पर है। श्रद्धालु न केवल दर्शन कर रहे हैं, बल्कि मंदिर में आयोजित पूजा और उत्सवों में भी सक्रिय भागीदारी निभा रहे हैं।


देव डोलियों का आगमन और भक्ति का माहौल

कार्तिक मास के देव स्नान पर्व के अवसर पर मंदिर परिसर में देव डोलियों के नृत्य और पूजा कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं। बीकेटीसी प्रबंधन ने सभी डोलियों के लिए दर्शन, पूजन और अन्य सुविधाओं का प्रबंध किया है। प्रशासन ने सुरक्षा, मार्गदर्शन और भीड़ नियंत्रण के लिए विशेष इंतजाम किए हैं, ताकि श्रद्धालु सुरक्षित रूप से दर्शन कर सकें।


श्रद्धालुओं की संख्या में वृद्धि

बदरीपुरी में तीर्थ यात्रियों की संख्या अब 15 लाख के पार पहुँच चुकी है। गुरुवार, 16 अक्टूबर को मंदिर में 3,696 श्रद्धालुओं ने भगवान बदरी विशाल के दर्शन किए। कपाट खुलने के बाद अब तक कुल 15,798 श्रद्धालुओं ने दर्शन कर पुण्य लाभ अर्जित किया है। तीर्थयात्री केवल मंदिर तक ही सीमित नहीं हैं, बल्कि आसपास के दर्शनीय स्थलों में भी जा रहे हैं।


आरती और पूजा का आकर्षण

मंदिर परिसर में ब्रह्म मुहूर्त से लेकर रात्रि कालीन शयन आरती तक श्रद्धालुओं की भीड़ रहती है। कार्तिक पूर्णमासी स्नान पर्व और दीपावली के अवसर पर विशेष पूजा और कार्यक्रम आयोजित किए जा रहे हैं, जिससे पूरे धाम में भक्ति और उत्साह का माहौल बना हुआ है।


बीकेटीसी और प्रशासन की तैयारी

बीकेटीसी उपाध्यक्ष ऋषि प्रसाद सती ने बताया कि 25 नवंबर 2025 तक बदरीनाथ धाम के कपाट बंद होने से पहले तीर्थ यात्रियों की भारी भीड़ की उम्मीद है। व्यवस्थाओं को बेहतर बनाने के लिए प्रशासन लगातार प्रयास कर रहा है। गंगोत्री धाम के कपाट 22 अक्टूबर, यमुनोत्री और केदारनाथ के 23 अक्टूबर और बदरीनाथ के कपाट 25 नवंबर को बंद किए जाएंगे।


धार्मिक और सांस्कृतिक महत्ता

देव डोलियों का आगमन और नियमित आरती, पूजा तथा उत्सवों ने बदरीपुरी को धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टि से और महत्वपूर्ण बना दिया है। स्थानीय व्यवसाय और पर्यटन उद्योग भी तीर्थ यात्रियों के आगमन से लाभान्वित हो रहे हैं। पूरे धाम में श्रद्धालुओं का उत्साह, भक्ति और सांस्कृतिक आनंद देखने लायक है।


बदरीनाथ धाम न केवल धार्मिक दृष्टि से महत्वपूर्ण है, बल्कि सांस्कृतिक और पर्यटन के लिहाज से भी इसे नए आयाम मिले हैं। देव डोलियों का आगमन, तीर्थ यात्रियों की बढ़ती संख्या और विशेष आयोजन इसे श्रद्धालुओं और पर्यटकों के लिए आकर्षण का प्रमुख केंद्र बना रहे हैं।

 

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