उत्तराखंड

हरिद्वार में नवरात्र का उत्सव, मां मनसा देवी मंदिर में श्रद्धालुओं की उमड़ती भीड़

Navratri celebrations in Haridwar, devotees throng Maa Mansa Devi Temple

देहरादून: 22 सितम्बर से पूरे देश में नवरात्र की शुरुआत के साथ ही हरिद्वार के प्रमुख मंदिरों में भक्तों की भीड़ बढ़ गई है। विशेष रूप से मां मनसा देवी मंदिर में सुबह से शाम तक दर्शनार्थियों का तांता लगा रहता है। पिछले साल 27 जुलाई को मंदिर में हुई भगदड़ के बाद श्रद्धालुओं की संख्या में कमी आई थी, लेकिन नवरात्र के आगमन के साथ ही यहां भक्तों का रेला फिर से शुरू हो गया है। दूर-दूर से श्रद्धालु माता के दर्शन और पूजा-अर्चना के लिए इस पावन स्थल पर आते हैं।

मंदिर की धार्मिक महत्ता

हरिद्वार के बिल्वा पर्वत पर स्थित मां मनसा देवी मंदिर उत्तराखंड के प्रमुख तीर्थस्थलों में से एक है। इसे 51 शक्तिपीठों में से एक माना जाता है। यहां माता मनसा देवी की पूजा होती है, जिन्हें माता दुर्गा का रूप माना जाता है। ‘मनसा’ का अर्थ है ‘मन की इच्छा’। मान्यता है कि जो श्रद्धालु सच्चे मन से माता की उपासना करता है, उसकी सभी मनोकामनाएं पूरी होती हैं। नवरात्र के दौरान भक्तों की संख्या सामान्य दिनों की तुलना में कई गुना बढ़ जाती है।

मंदिर का स्थान और पौराणिक कथाएं

मां मनसा देवी का मंदिर हरिद्वार शहर से लगभग 3 किलोमीटर दूर हिमालय की शिवालिक पर्वत श्रृंखला के बिल्वा पर्वत पर स्थित है। पौराणिक कथाओं के अनुसार माता मनसा देवी ऋषि कश्यप और देवी कद्रु की पुत्री हैं। उन्हें नाग वासुकी की बहन भी कहा जाता है। कथा अनुसार उनका विवाह जगत्कारू ऋषि से हुआ था।

मां मनसा देवी से जुड़ी प्रमुख कथाओं में महिषासुर नामक राक्षस का वध शामिल है। पौराणिक काल में महिषासुर ने देव लोक और पृथ्वी लोक में अत्याचार बढ़ा दिए थे। देवताओं की स्तुति और मां दुर्गा के महिषासुर वध के बाद माता ने इसी स्थान पर विश्राम किया, और तभी से उनका यह रूप मनसा देवी के नाम से जाना गया।

नवरात्र में भक्तों की आस्था और आयोजन

नवरात्र के दौरान भक्त लंबी कतारों में खड़े होकर माता के दर्शन करते हैं। मंदिर में सुबह से शाम तक पूजा-अर्चना, भजन, कीर्तन और हवन जैसे धार्मिक आयोजन होते हैं। मंदिर प्रशासन ने सुरक्षा और सुविधाओं के बेहतर इंतजाम किए हैं, ताकि श्रद्धालुओं को कठिनाई न हो।

धार्मिक और सांस्कृतिक महत्व

मनसा देवी मंदिर केवल आस्था का केंद्र नहीं है, बल्कि यह धार्मिक और सांस्कृतिक दृष्टि से भी महत्वपूर्ण स्थल है। नवरात्र के अवसर पर यह स्थान उत्तराखंड और पूरे देश के श्रद्धालुओं को आकर्षित करता है। भक्त यहां आकर अपने मनोकामनाओं की पूर्ति के साथ-साथ माता के आशीर्वाद के लिए विशेष पूजा-अर्चना करते हैं।

हरिद्वार का मां मनसा देवी मंदिर नवरात्र के दौरान आस्था और भक्ति का प्रमुख केंद्र बन जाता है। पौराणिक कथाओं और धार्मिक मान्यताओं से जुड़े इस मंदिर में श्रद्धालुओं का आगमन यह दर्शाता है कि भक्ति और आस्था का महत्व समय और परिस्थिति के साथ कभी कम नहीं होता। नवरात्र के इन पावन दिनों में माता के दर्शन से श्रद्धालुओं का मन आनंदित होता है और उनकी इच्छाएं पूर्ण होती हैं।

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