
देहरादून: उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने ईद के दिन बड़ा फैसला लेते हुए प्रदेश के चार जिलों में 17 स्थानों के नाम बदलने की घोषणा की। सरकार के इस फैसले को ऐतिहासिक बताते हुए टपकेश्वर महादेव मंदिर के आचार्य ने सराहना की है।
चार जिलों में बदले गए 17 स्थानों के नाम
धामी सरकार ने हरिद्वार, देहरादून, नैनीताल और उधम सिंह नगर जिलों में स्थित 17 स्थानों के नाम बदलने का निर्णय लिया। इस फैसले को लेकर राज्यभर में मिली-जुली प्रतिक्रियाएँ सामने आई हैं।
टपकेश्वर महादेव मंदिर के आचार्य डॉ. विपिन जोशी ने इस पर अपनी राय व्यक्त करते हुए कहा, “यह ऐतिहासिक निर्णय है और इसकी सराहना की जानी चाहिए। हरिद्वार हमारी देवभूमि का प्रमुख द्वार है, और वहाँ के स्थानों के नाम हमारी सनातन संस्कृति के अनुरूप होने चाहिए। मैं मुख्यमंत्री द्वारा उठाए गए इस कदम का स्वागत करता हूँ।”
हरिद्वार जिले में बदले गए स्थानों के नाम
हरिद्वार जिले में 10 स्थानों के नाम बदले गए हैं:
- औरंगजेबपुर → शिवाजी नगर
- गाजीवाली → आर्य नगर
- चांदपुर → ज्योतिबा फुले नगर
- मोहम्मदपुर जट → मोहनपुर जट
- खानपुर कुर्सली → अंबेडकर नगर
- इदरीशपुर → नंदपुर
- खानपुर → श्रीकृष्णपुर
- अकबरपुर फाजलपुर → विजयनगर
- आसफनगर → देवनारायण नगर
- सलेमपुर राजपूताना → शूरसेन नगर
देहरादून जिले में चार स्थानों के नाम बदले
- मियांवाला → रामजीवाला
- पीरवाला → केसरी नगर
- चांदपुर खुर्द → पृथ्वीराज नगर
- अब्दुलपुर → दक्षनगर
नैनीताल और उधम सिंह नगर में बदले गए नाम
नैनीताल जिले में दो स्थानों के नाम बदले गए हैं:
- नवाबी रोड → अटल मार्ग
- पनचक्की से आईटीआई मार्ग → गुरु गोवलकर मार्ग
उधम सिंह नगर जिले में:
- नगर पंचायत सुलतानपुर पट्टी → कौशल्या पुरी
सीएम धामी बोले— “भारतीय संस्कृति के अनुरूप नामकरण”
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि यह फैसला जनभावना के अनुरूप लिया गया है और भारतीय संस्कृति व विरासत को ध्यान में रखते हुए स्थानों के नाम बदले गए हैं।
गौरतलब है कि इससे पहले उत्तर प्रदेश समेत कुछ अन्य राज्यों में भी ब्रिटिशकालीन और मुगलकालीन नामों को बदला गया था। उत्तराखंड में इससे पहले घाट नगर पंचायत का नाम नंदानगर और जोशीमठ का नाम ज्योतिर्मठ किया गया था।